:) बहुत सुंदर भाव हैं.
बसन्त के बाद पतझड का आना सत्य है उम्र ढलने पर थकना भी सत्य है
थक गयी हूँ????? नाम अपराजिता और थक गयी। ये सही नही । हाँ अगर रचना की बात करें तो बहुत अच्छी है शुभकामनायें
जज्बातों को खूबसूरती से उकेरा है...बहुत खूब
अपराजिता - और थक गई हूँ - ये बात कुछ हजम नहीं हुई - हा - हा- हा-सुन्दर भाव की रचना।सादर श्यामल सुमन09955373288www.manoramsuman.blogspot.com
हर रंग को आपने बहुत ही सुन्दर शब्दों में पिरोया है, बेहतरीन प्रस्तुति ।
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:) बहुत सुंदर भाव हैं.
बसन्त के बाद पतझड का आना सत्य है
उम्र ढलने पर थकना भी सत्य है
थक गयी हूँ????? नाम अपराजिता और थक गयी। ये सही नही । हाँ अगर रचना की बात करें तो बहुत अच्छी है शुभकामनायें
जज्बातों को खूबसूरती से उकेरा है...बहुत खूब
अपराजिता - और थक गई हूँ - ये बात कुछ हजम नहीं हुई - हा - हा- हा-
सुन्दर भाव की रचना।
सादर
श्यामल सुमन
09955373288
www.manoramsuman.blogspot.com
हर रंग को आपने बहुत ही सुन्दर शब्दों में पिरोया है, बेहतरीन प्रस्तुति ।
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